हवाना, 12 अक्टूबर। क्यूबा के विदेश मंत्रालय ने शनिवार को कहा कि अमेरिका का यह दावा कि क्यूबा के सैनिक यूक्रेन में लड़ रहे हैं, बिना किसी आधार का है। मंत्रालय ने पहली बार उन कानूनी मामलों की जानकारी भी जारी की, जिनमें क्यूबाई नागरिकों के खिलाफ यूक्रेन युद्ध में भाड़े के सैनिक के रूप में भाग लेने के आरोप में मुकदमे चले हैं।
विदेश मंत्रालय के बयान के अनुसार, 2023 से 2025 के बीच क्यूबा की अदालतों में भाड़े के सैनिक बनने के आरोप में 40 आरोपियों के खिलाफ नौ आपराधिक मामले दर्ज किए गए। इनमें से आठ मामलों में मुकदमे हुए, जिनमें पांच मामलों में 26 आरोपियों को सजा सुनाई गई। सजाएं 5 से 14 साल की जेल तक हैं। एक मामला परीक्षण के लिए लंबित है और तीन मामलों का निर्णय अभी अदालत के पास है।
क्यूबा ने स्पष्ट किया कि वह यूक्रेन में किसी भी तरह के सैन्य संघर्ष में भाग नहीं ले रहा है, न ही अपने सैनिक भेज रहा है। मंत्रालय ने कहा, “हमें यह नहीं पता कि कितने क्यूबाई नागरिक किसी भी पक्ष में शामिल हैं, लेकिन हमारी नीति है कि किसी भी अन्य देश में लड़ाई में शामिल होने या भाड़े के सैनिक बनने की कोई सहनशीलता नहीं है।”
दरअसल, अमेरिकी विदेश विभाग ने हाल ही में एक डिप्लोमैटिक नोट जारी किया, जिसमें कहा गया कि क्यूबाई सैनिक रूस के साथ यूक्रेन में लड़ रहे हैं और उत्तर कोरिया के बाद क्यूबा सबसे बड़ा विदेशी सैनिक योगदानकर्ता है। इस नोट में क्यूबा के 1,000 से 5,000 सैनिकों के रूस के साथ युद्ध में होने का अनुमान लगाया गया था।
हालांकि क्यूबा ने इसे पूरी तरह खारिज करते हुए कहा कि वह संयुक्त राष्ट्र की शांति वार्ता और वैश्विक सुरक्षा प्रयासों का समर्थन करता है और देश की नीति किसी भी विदेशी संघर्ष में भाग लेने के खिलाफ है।
इस बीच, संयुक्त राष्ट्र महासभा इस महीने क्यूबा पर अमेरिका के दशकों पुराने आर्थिक प्रतिबंध को समाप्त करने के लिए एक गैर-बाध्यकारी प्रस्ताव पर मतदान करने जा रही है, जो 1992 से हर साल भारी समर्थन के साथ पारित होता आया है। हालांकि अब महासभा ने पिछले साल इस प्रस्ताव को अपनाया था, जिसके पक्ष में 187 देशों ने मतदान किया था। केवल अमेरिका और इजराइल ही ऐसे देश थे जिन्होंने इसके खिलाफ मतदान किया, जबकि मोल्दोवा ने मतदान में भाग नहीं लिया।
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